Friday, November 22, 2024
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उत्तराखंड

केदारनाथ में बुजुर्ग, विकलांग और बीमार श्रद्धालुओं के लिए बड़ी सुविधा: चौपहिया वाहन और गोल्फ कार्ट की तैनाती

केदारनाथ धाम, जहां श्रद्धालु भगवान शिव के दर्शन के लिए आते हैं, अब बुजुर्ग, विकलांग और बीमार श्रद्धालुओं के लिए और भी सुगम बनने जा रहा है। इस धार्मिक स्थल पर आने वाले ऐसे तीर्थ यात्रियों की सुविधा के लिए पर्यटन विभाग ने एक महत्वपूर्ण पहल की है। इस पहल के तहत प्रशासन ने केदारनाथ में हेलीपैड से मंदिर तक श्रद्धालुओं को लाने और छोड़ने के लिए दो चौपहिया वाहनों की तैनाती को मंजूरी दी है।

 

शुक्रवार को इनमें से एक चौपहिया वाहन को भारतीय वायु सेना के चिनूक हेलीकॉप्टर की मदद से केदारनाथ पहुंचा दिया गया है, जबकि दूसरा वाहन शनिवार को पहुंचाया जाएगा। यह व्यवस्था विशेष रूप से उन श्रद्धालुओं के लिए है जो शारीरिक रूप से कमजोर हैं और मंदिर तक पैदल जाने में असमर्थ हैं।

 

केदारनाथ धाम में तीर्थ यात्रियों की सुविधा को और भी बढ़ाने के लिए तीन गोल्फ कार्ट की भी तैनाती की जाएगी। ये गोल्फ कार्ट विशेष रूप से बीमार, विकलांग और बुजुर्ग श्रद्धालुओं को हेलीपैड या बेस कैंप से मंदिर तक पहुंचाने का कार्य करेंगे। इस प्रकार की सुविधाएं सुनिश्चित करेंगी कि किसी भी श्रद्धालु को दर्शन के लिए कठिनाई का सामना न करना पड़े।

 

इससे पहले भी चिनूक हेलीकॉप्टर का उपयोग केदारनाथ में पुनर्निर्माण कार्यों के लिए किया गया है। इन हेलीकॉप्टरों की मदद से डंपर, जेसीबी और पोकलैंड मशीनों को भी केदारनाथ घाटी पहुंचाया गया था, जिससे पुनर्निर्माण के कार्य तेजी से पूरे हो सके। इस बार, इन हेलीकॉप्टरों का उपयोग तीर्थ यात्रियों की सुविधा के लिए किया जा रहा है, जो एक सराहनीय कदम है।

 

रुद्रप्रयाग जिला पर्यटन अधिकारी ने बताया कि चौपहिया वाहनों को केदारनाथ पहुंचाने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। उन्होंने बताया कि एक वाहन शुक्रवार को पहुंच चुका है और दूसरा वाहन शनिवार को पहुंच जाएगा। इन वाहनों की तैनाती से बीमार, बुजुर्ग और विकलांग तीर्थ यात्रियों को हेलीपैड से मंदिर तक पहुंचने में सहूलियत होगी। यह वाहन उन्हें न केवल हेलीपैड से मंदिर तक छोड़ेंगे बल्कि जरूरत पड़ने पर वापस भी लाएंगे।

 

पर्यटन विभाग की यह पहल न केवल प्रशासनिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है बल्कि यह श्रद्धालुओं के प्रति संवेदनशीलता और उनकी सुविधा के प्रति प्रतिबद्धता को भी दर्शाती है। केदारनाथ जैसे कठिन और दुर्गम स्थल पर इस प्रकार की सुविधाओं की उपलब्धता तीर्थ यात्रियों के अनुभव को और भी अधिक सुखद बनाएगी। यह कदम निश्चित रूप से उन श्रद्धालुओं के लिए राहत प्रदान करेगा जो शारीरिक कारणों से मंदिर तक की कठिन यात्रा नहीं कर सकते।

 

इस पहल से केदारनाथ धाम में आने वाले तीर्थ यात्रियों की संख्या में भी वृद्धि होने की संभावना है, क्योंकि अब अधिक से अधिक लोग इस सुविधा का लाभ उठाकर बाबा केदार के दर्शन करने के लिए प्रेरित होंगे। यह धार्मिक स्थल के पर्यटन को भी बढ़ावा देगा और स्थानीय अर्थव्यवस्था में भी सकारात्मक योगदान देगा।

 

कुल मिलाकर, पर्यटन विभाग और प्रशासन की यह पहल केदारनाथ धाम में तीर्थ यात्रियों के लिए एक नई उम्मीद और सुविधा लेकर आई है। यह पहल एक उदाहरण है कि किस प्रकार आधुनिक तकनीक और प्रशासनिक प्रयास मिलकर लोगों के जीवन को सरल और सहज बना सकते हैं।

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