Big Breaking:-भारत के आगे नतमस्तक हुआ कनाडा, 10 अक्टूबर से पहले ही अपने राजनयिकों को दूसरे देशों में भेजा।
दिल्ली
खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर (Hardeep Singh Nijjar) की हत्या को लेकर भारत और कनाडा के राजनयिक रिश्ते बिगड़ गए हैं। भारत की तरफ से अल्टीमेटम देने के बाद कनाडा ने अपने अधिकांश राजनयिकों को वापस बुला लिया है।
हालांकि, भारत ने ट्रूडो के आरोपों को ‘बेतुका’ और ‘राजनीति से प्रेरित’ बताते हुए खारिज कर दिया। इस मामले पर कनाडा ने एक भारतीय राजनयिक को निष्कासित कर आग में घी डालने का काम किया, जिस पर जवाबी कार्रवाई करते हुए भारत ने भी कनाडाई राजनयिक को निष्कासित कर दिया।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा कि भारत में कनाडा के राजनयिकों की संख्या कनाडा में भारतीय राजनयिकों की संख्या की तुलना में काफी ज्यादा है। इसलिए इसमें कमी लाने की जरूरत है।
फाइनेंशियल टाइम्स’ की एक रिपोर्ट के मुताबिक, भारत ने कनाडा से स्पष्ट शब्दों में कहा है
कि 10 अक्टूबर तक वो भारत से अपने अतिरिक्त 41 डिप्लोमैट को वापस बुलाए. भारतीय विदेश मंत्रालय ने इस पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि हमारा फोकस भारत में कनाडा के डिप्लोमैट को कम करना है, क्योंकि यहां उनकी संख्या काफी ज्यादा है.
और वो लगातार भारत के आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप करते हैं
भारत और कनाडा के बीच जारी राजनयिक तनाव के बीच भारतीय विदेश मंत्रालय ने आज गुरुवार को साप्ताहिक प्रेस कॉन्फ्रेंस की. प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने साफ शब्दों में कहा है कि भारत की तुलना में कनाडा के बहुत ही ज्यादा डिप्लोमैट नई दिल्ली में हैं. इसे कम करने की जरूरत है.
दरअसल, दो दिन पहले ही ब्रिटिश अखबार फाइनेंशियल टाइम्स ने अपनी एक रिपोर्ट में कहा था कि भारत ने कनाडा को 10 अक्टूबर तक का अल्टीमेटम देते हुए अपने 41 डिप्लोमैट को वापस बुलाने के लिए कहा है.
रिपोर्ट के मुताबिक, भारत ने सख्त लहजे में कहा है कि तय समय के बाद भी ये राजनयिक अगर भारत में रहते हैं तो इनकी सभी छूट खत्म कर दी जाएगी.
कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने 18 सितंबर को कनाडा की संसद में बोलते हुए भारत पर आरोप लगाया था कि जून 2023 में हुई हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारत का हाथ हो सकता है.
ट्रूडो के इस संगीन आरोप के बाद से ही दोनों देशों के बीच राजनयिक तनाव जारी है.