हरादून में भीषण गर्मी: तापमान ने तोड़ा अब तक का रिकॉर्ड
उत्तराखंड की राजधानी देहरादून में शुक्रवार को गर्मी ने अब तक का अपना सर्वाधिक रिकॉर्ड तोड़ दिया है। मई महीने में पहली बार शुक्रवार को दिन का अधिकतम तापमान 43.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है, जो मई महीने का सर्वाधिक तापमान है। मौसम विज्ञान केंद्र देहरादून के निदेशक डॉ. बिक्रम सिंह ने बताया कि देहरादून में गर्मी ने अब तक के सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं।
शुक्रवार को देहरादून का तापमान 43.2 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया, जो कि मई महीने का सबसे अधिक तापमान है। इससे पहले, 30 मई 2012 को देहरादून का तापमान 43.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था, जो तब तक का सर्वाधिक तापमान था। इस वर्ष का तापमान पिछले सभी रिकॉर्ड तोड़ते हुए नए उच्चतम स्तर पर पहुंच गया है।
मौसम विज्ञान केंद्र देहरादून के निदेशक डॉ. बिक्रम सिंह ने बताया, “देहरादून में शुक्रवार को तापमान 43.2 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया, जो कि अब तक का सबसे अधिक तापमान है। इससे पहले, 30 मई 2012 को तापमान 43.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था। यह दर्शाता है कि इस वर्ष गर्मी ने सभी पुराने रिकॉर्ड को तोड़ दिया है।”
भीषण गर्मी के कारण देहरादून और आसपास के क्षेत्रों में जनजीवन प्रभावित हो गया है। अत्यधिक गर्मी के कारण लोगों को घरों में रहने की सलाह दी गई है और अधिक से अधिक पानी पीने की सलाह दी गई है। अस्पतालों में भी गर्मी के कारण बीमारियों के मामलों में वृद्धि देखी जा रही है।
विशेषज्ञों का मानना है कि जलवायु परिवर्तन के कारण तापमान में वृद्धि हो रही है। डॉ. बिक्रम सिंह ने बताया कि वैश्विक तापमान में वृद्धि और जलवायु परिवर्तन के कारण इस प्रकार की असामान्य गर्मी देखी जा रही है। उन्होंने कहा, “जलवायु परिवर्तन के कारण हमें आने वाले समय में इस प्रकार की अधिक गर्मी का सामना करना पड़ सकता है। हमें इसके लिए तैयार रहना होगा और इसके प्रभावों को कम करने के उपाय करने होंगे।”
मौसम विभाग ने लोगों को अत्यधिक गर्मी से बचने के लिए कुछ सुझाव दिए हैं:
1. घर से बाहर निकलने से पहले पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं।
2. हल्के और ढीले कपड़े पहनें।
3. धूप में बाहर जाने से बचें और यदि आवश्यक हो तो टोपी या छाते का उपयोग करें।
4. अधिक समय तक धूप में न रहें।
5. घर के अंदर भी ठंडे स्थान पर रहें और पंखे या एसी का उपयोग करें।
देहरादून में शुक्रवार को दर्ज किए गए तापमान ने पिछले सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं और यह मई महीने का सर्वाधिक तापमान है। अत्यधिक गर्मी के कारण लोगों को सतर्क रहने और आवश्यक सावधानियां बरतने की सलाह दी गई है। विशेषज्ञों का मानना है कि जलवायु परिवर्तन के कारण इस प्रकार की गर्मी सामान्य होती जा रही है और हमें इसके प्रभावों से निपटने के लिए तैयार रहना होगा।
भीषण गर्मी के इस दौर में लोगों को सतर्क रहने और स्वास्थ्य का ध्यान रखने की आवश्यकता है। गर्मी के प्रभाव से बचने के लिए मौसम विभाग द्वारा दिए गए सुझावों का पालन करना आवश्यक है। आशा है कि आने वाले दिनों में तापमान में कुछ राहत मिलेगी और जनजीवन सामान्य हो सकेगा।